बेंगलुरू, एजेंसियां। कर्नाटक में नेतृत्व परिवर्तन की चर्चाओं के बीच कर्नाटक के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा का कहना है कि बीजेपी आलाकमान इसको लेकर फैसला करेगा। उन्होंने कहा है कि 25 जुलाई को भाजपा आलाकमान उनको निर्देश देगा और वह इसका पालन करेंगे। कर्नाटक के सीएम बीएस येदियुरप्पा ने कहा कि हमारी सरकार के 2 साल पूरे होने पर 26 जुलाई (जुलाई) को एक कार्यक्रम है। इसके बाद जेपी नड्डा जो भी फैसला करेंगे, मैं उसका पालन करूंगा। भाजपा को सत्ता में वापस लाना मेरा कर्तव्य है। मैं पार्टी कार्यकर्ताओं और संतों से सहयोग करने का आग्रह करता हूं।
इस बीच, कर्नाटक में नेतृत्व पर चर्चा की अफवाहों के बीच सीएम बीएस येदियुरप्पा के बयान पर कर्नाटक के डिप्टी सीएम सीएन अश्वथनारायण ने कहा है कि मुझे नहीं पता कि सीएम ने किस संदर्भ में यह बयान दिया। फिलहाल नेतृत्व पर चर्चा होने का सवाल ही नहीं उठता। हमें इन बातों की जानकारी नहीं है। हमें उनसे सुनने की जरूरत है।
I don’t know in what context CM made that statement. At present, there is no question of leadership discussion happening. We are not aware of these things. We need to hear from him: Karnataka Deputy CM CN Ashwathnarayan on CM BS Yeddiyurappa’s statement amid exit rumours pic.twitter.com/aMG4XBzluM— ANI (@ANI) July 22, 2021
कर्नाटक में नेतृत्व परिवर्तन की अटकलों और अपने पक्ष में उठती आवाजों के बीच मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने बुधवार को अपने समर्थकों और शुभचिंतकों से अपील की कि वे किसी भी तरह के विरोध प्रदर्शन या अनुशासनहीनता में शामिल न हों जो भाजपा के लिए अपमानजनक हो या उसे शर्मिदा करे। 78 वर्षीय वरिष्ठ भाजपा नेता ने कहा कि पार्टी उनके लिए मां की तरह है।
येदियुरप्पा ने ट्वीट कर कहा था-, ‘मुझे भाजपा का वफादार कार्यकर्ता होने का सौभाग्य मिला है। नैतिकता और व्यवहार के उच्चतम मानकों के साथ पार्टी की सेवा करना मेरा परम सम्मान है। मैं सभी से पार्टी की परंपरा के अनुसार कार्य करने और विरोध या अनुशासनहीनता में शामिल नहीं होने का आग्रह करता हूं जो पार्टी के लिए अपमानजनक और शर्मनाक हो।’
मुख्यमंत्री ने समर्थकों से कहा- पार्टी मां की तरह है और इसका अपमान मुझे पीड़ा देगा
कन्नड़ में ट्वीट कर मुख्यमंत्री ने समर्थकों से आगे कहा कि वर्तमान राजनीतिक घटनाक्रमों के आधार पर वे न तो उनके समर्थन में बयान दें और न ही विरोध प्रदर्शनों में शामिल हों। उन्होंने कहा, ‘आपकी सद्भावना अनुशासन की सीमा पार नहीं करनी चाहिए। मेरे लिए पार्टी मां की तरह है और इसका अपमान मुझे पीड़ा देगा। मुझे विश्वास है कि मेरे शुभचिंतक मेरी बात समझेंगे और मेरी भावनाओं का आदर करेंगे।’