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WTC फाइनल से पहले भारत को लगा बड़ा झटका, ये खिलाड़ी दोबारा हुआ कोरोना पॉजिटिव

ऋद्धिमान साहा 25 मई से पहले कोरोना टेस्ट में निगेटिव नहीं पाए जाते हैं तो उन्हें इंग्लैंड दौरे पर जाना का मौका नहीं मिलेगा. ऐसे में साहा वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप का फाइनल भी नहीं खेल पाएंगे.

नई दिल्ली. भारत के विकेटकीपर बल्लेबाज और सनराइजर्स हैदराबाद के अहम खिलाड़ी ऋद्धिमान साहा दोबारा कोरोना पॉजिटिव पाए गए थे. इससे पहले साहा को 4 मई को कोविड-19 से संक्रमित पाया गया है. साहा सहित कुछ खिलाड़ियों को कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद आईपीएल 2021 को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया था. विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल से पहले यह भारत के लिए बुरी खबर है. साहा को हाल में ही WTC फाइनल और इंग्लैंड दौरे पर पांच टेस्ट मैचों की सीरीज के लिए 20 सदस्यीय भारतीय टीम में चुना गया है. अगर साहा 25 मई से पहले कोरोना टेस्ट में निगेटिव नहीं पाए जाते हैं तो उन्हें इंग्लैंड दौरे पर जाना का मौका नहीं मिलेगा.

इंग्लैंड दौरे पर जाने से पहले भारतीय खिलाड़ियों को एक सप्ताह के लिए मुंबई के एक होटल में बायो-बबल में प्रवेश करना है. बीसीसीआई ने साफ कहा है कि बायो-बबल में प्रवेश करने से हर खिलाड़ी को कोरोना निगेटिव होना जरूरी है.

साहा ने सुनाई आपबीती

दो दिन पहले ही साहा ने कहा था कि वह कोविड-19 के संक्रमण से उबर रहे हैं. उन्होंने बताया कि संक्रमित होने के बाद उनका परिवार बेहद डर गया था. साहा ने बताया कि आईपीएल के दौरान ठंड लगने और दर्द की शिकायत के बाद उनका दो बार परीक्षण किया गया था. हालांकि पहले दो परीक्षण में उनका टेस्ट रिपोर्ट निगेटिव आया लेकिन जब उन्हें बुखार होने लगा कि तीसरी बार एक ओर टेस्ट कराया गया. इसके बाद उनके कोरोना वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई. आनंद बाजार पत्रिका को दिए इंटरव्यू में साहा ने कहा, ‘मुझे मई के पहले दिन अभ्यास समाप्त करने के बाद थकान महसूस हुई. मुझे ठंड लगी और साथ ही हल्की सर्दी और हल्की खांसी हुई. मैंने उस दिन टीम के डॉक्टर को सूचित किया. मेरे लिए बिना किसी जोखिम के अलग रहने की व्यवस्था की गई थी.’
साहा ने कहा, ‘कोविड परीक्षण उसी दिन किया गया. अगले दिन रिपोर्ट नेगेटिव आई. दूसरे दिन मुझे भी परखा गया. परिणाम निगेटिव था. फिर भी मुझे आइसोलेशन में रहना पड़ा क्योंकि तब तक बुखार आने लगा था. तीसरे दिन परीक्षण के बाद रिपोर्ट पॉजिटिव आई.’ 36 वर्षीय साहा और उनका परिवार पिछले एक साल में कोरोन वायरस के कहर को देखते हुए डरा हुआ था. साहा ने कहा, ‘एक वायरस ने पृथ्वी पर ठहराव ला दिया है. उससे संक्रमित होने के बाद मुझे डर लगने लगा था. परिवार में भी सभी लोग चिंतित थे. मैंने उन्हें वीडियो कॉल के माध्यम से आश्वस्त किया कि डरने का कोई कारण नहीं है. मेरी पर्याप्त देखभाल की जा रही थी.’

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