ITR Deadline: एसेसमेंट ईयर 2020-21 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करने का आज रविवार यानी 10 जनवरी को डेडलाइन है.
ITR Deadline: एसेसमेंट ईयर 2020-21 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करने का आज रविवार यानी 10 जनवरी को डेडलाइन है. इसके बाद रिटर्न फाइल करने पर आपको लेटफीस के रूप में 10 हजार रुपये तक जुर्माना देना होगा. ऐसे में अगर आपने अबतक ITR दाखिल नहीं किया है तो इसे आज ही निपटा लें. बता दें कि कोरोना वायरस महामारी के चलते आईटीआर दाखिल करने की समय सीमा को 10 जनवरी 2021 तक बढ़ा दिया गया था. इस बीच शुक्रवार दोपहर 12 बजे तक 5 करोड़ से ज्यादा ITR फाइल किए जा चुके हैं. आप खुद भी ऑनलाइन इनकम टैक्स रिटर्न फाइल कर सकते हैं. इसके लिए सिंपल गाइडलांइस हैं.
10 जनवरी के बाद जुर्माना
अगर टैक्स पेयर्स रिटर्न 10 जनवरी के बाद फाइल करते हैं तो 10 हजार रुपये लेट फीस के रूप में जुर्माना भरना होगा. इसके अलावा ऐसे टैक्सपेयर्स, जिनकी आय 5 लाख से ज्यादा नहीं है, उनको लेट फीस के रूप में 1000 रुपये ही देने पड़ेंगे.
ऑनलाइन ITR लिए फॉलो करें ये स्टेप
- इसके लिए सबसे पहले इनकम टैक्स के ई-फाइलिंग पोर्टल पर जाना होगा. जिसके बाद यूजर आईडी (पैन नंबर), पासवर्ड और कैप्चा कोड भरकर लॉग इन करें.
- ‘e-File’ मेन्यू पर क्लिक करें और उसके बाद ‘Income Tax Return’ के लिंक पर क्लिक करें.
- अब असेसमेंट ईयर, आईटीआर फॉर्म नंबर, फाइलिंग टाइप में ‘ओरिजिनल/ रिवाइज्ड रिटर्न’ चुनें. इसके बाद सबमिशन मोड में ‘प्रीपेयर एंड सबमिट ऑनलाइन’ को क्लिक करें.
- आईटीआर फॉर्म को भरें. (अगर आप अधिक समय नहीं लगाना चाहते हैं तो प्री-फिल्ड एक्सएमएल भी डाउनलोड कर सकते हैं जिसमें कई जानकारियां पहले से भरी होंगी.)
- आईटीआर फॉर्म में भरी गई सभी जानकारी को वैलिडेट करें और टैक्स की गणना करें.
- फॉर्म भरने के बाद ‘टैक्स पेड एंड वेरिफिकेशन टैब’ में उपयुक्त वेरिफिकेशन विकल्प को चुनें.
- इसके बाद ‘प्रीव्यू एंड सबमिट’ बटन पर क्लिक करें.
- अगर आपने ‘ई-वेरिफिकेशन’ का विकल्प चुना है तो आप ईवीसी या ओटीपी में से किसी एक जरिए ई-वेरिफिकेशन पूरा कर सकते हैं.
- अगर आपका पैन आधार से जुड़ा है और मोबाइल नंबर लिंक है तो ओटीपी से ई-वेरिफिकेशन पूरा करें.
- वेरिफिकेशन की प्रक्रिया पूरी होने के बाद आप आईटीआर सबमिट कर सकते हैं.
ये डॉक्युमेंट्स तैयार रखें
फॉर्म 16, रेंटल एग्रीमेंट्स, प्रॉपर्टी टैक्स रिसीट्स, होम लोन के लिए इंट्रेस्ट सर्टिफिकेट्स, बैंक स्टेटमेंट्स, बैंक लोन के इंट्रेस्ट सर्टिफिकेट्स, बैंक स्टेटमेंट्स, इंट्रेस्ट सर्टिफिकेट्स, कैपिटल गेन स्टेटमेंट्स, टैक्स सेविंग इंवेस्टमेंट्स (जैसे कि मेडीक्लेम, इंश्योरेंस प्रीमियम, डोनेशंस) जैसे दस्तावेज तैयार रखें. बैंक स्टेटमेंट्स को एक बार चेक करना जरूरी है कि कोई इनकम या एसेट टैक्स रिटर्न में दिखाने से छूट तो नहीं गया है. इसमें बचत खाते पर मिलने वाले ब्याज को भी दिखाना होता है.