नई दिल्ली. केंद्र सरकार ने पबजी समेत 118 चीनी मोबाइल एप्लीकेशन पर प्रतिबंध (Chinese Apps Banned) लगा दिया है. इससे पहले भी सूचना व प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने टिकटॉक (TikTok), हेलो, वीचैट, यूसी न्यूज समेत चीन के 59 ऐप पर रोक लगा दी थी. मंत्रालय ने बुधवार को पबजी (PubG) समेत 118 चीनी ऐप्स पर बैन लगाते हुए कहा कि संप्रभु शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए और सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम की धारा-69A के तहत पर प्रतिबंध लगाया गया है. अब इन ऐप्स का इस्तेमाल गैरकानूनी हो गया है. ऐसे में अगर आपके मोबाइल फोन में प्रतिबंधित ऐप्स हैं तो तुरंत डिलीट (Delete) कर दें वरना आपको बड़ा नुकसान उठाना पड़ सकता है.
फोन में मौजूद रहेंगे प्रतिबंधित ऐप्स, खुद करना होगा डिलीट
तकनीकी विशेषज्ञों का कहना है कि बैन होने के बाद भी ये ऐप्स आपके फोन में मौजूद रहेंगे. इसलिए आपको इन्हें खुद ही डिलीट करना है. पहले भी देखा गया था कि जब टिकटॉक पर रोक लगाई गई तो कुछ लोगों ने इसे इस्तेमाल करने के लिए अलग-अलग जुगाड़ ढूंढ लिए थे. कोई इसे APK फाइल से डाउनलोड कर रहा था तो कोई VPN के जरिये ऐप को एक्सेस करने की कोशिश कर रहा था. हालांकि, लेकिन ज्यादातर तरीके काम नहीं कर रहे थे. इसी बीच वाट्सऐप पर एक apk फाइल का लिंक वायरल हुआ, जिससे टिकटॉक डाउनलोड हो रहा था.
ऐसे आसानी से स्मार्टफोन में डाला जा सकता है वायरस
वाट्सऐप पर वायरल हुई फाइल पर क्लिक करते ही unknown ऐप को इंस्टॉल करने की परमिशन मांगी जाती थी. इसके बाद परमिशन मिलने पर टिकटॉक को इंस्टॉल करने का ऑप्शन मिल जाता था और ऐप आसानी से फोन में काम करने लगता था. इस तरीके से प्रतिबंधित ऐप्स का इस्तेमाल करना बड़े खतरे को बुलावा देना है. बता दें कि जब भी कोई फाइल ऑफिशियली मौजूद नहीं होती है और उसकी apk फाइल का इस्तेमाल किया जाता है तो ये पता नहीं लग पाता कि उसमें क्या मॉडिफिकेशंस किए गए हैं. साफ है कि इससे फोन में आसानी से वायरस घुस सकते हैं, जिससे यूजर का प्राइवेट डाटा चोरी किया जा सकता है.
ISP को बाईपास कर एक्सेस उपलब्ध कराती है apk फाइल
दरअसल, बैन ऐप्स की apk फाइल ऑफिशियल ऐप का अनऑफिशियल वर्जन होता है. ये इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर को बाईपास कर बैन ऐप्स का एक्सेस यूजर को उपलब्ध कराता है. इससे यूजर की निजी जानकारी चोरी होने का पूरा खतरा बना रहता है. आसान शब्दों में समझें तो प्रतिबंधित ऐप्स का दूसरे माध्यमों से इस्तेमाल करना आपके फोन में मौजूद हर तरह की जानकारी के चोरी होने का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ जाता है. अन-ऑफिशियल वर्जन के जरिये आपकी लोकेशन, कॉन्टैक्ट लिस्ट, फोटो गैलरी, हैंडसेट में मौजूद जरूरी दस्तावेज तक APK फाइल के डेवलपर की पहुंच में आ जाते हैं.
अपने स्मार्टफोन से हटाने के लिए करना होगा बस इतना काम
अगर आपके स्मार्टफोन में भी चीनी ऐप है और आप उसे हटना चाहते हैं तो ऐप को कुछ सेकेंड तक प्रेस करने पर अनइंसटाल (Uninstall) का ऑप्शन दिखाई देगा. ऐप को ड्रैग कर ऑप्शन तक ले जाकर छोड़ दें. ऐप आपके स्मार्टफोन से पूरी तरह से हट जाएगा. हालांकि, कुछ ऐप्स सिस्टम में इंटीग्रेटेड होते हैं, जिससे उन्हें डिलीट नहीं किया जा सकता है. ऐसे में आप उन्हें डिसेबल (Disable) कर सकते हैं. डिसेबल करने के लिए फोन के सेटिंग ऑप्शन पर क्लिक करें. इसके बाद ऐप्स ऑप्शन पर क्लिक करें. यहां आपको अपने मोबाइल फोन में मौजूद सभी ऐप्स दिखने लगेंगे. इनमें प्रतिबंधित ऐप्स को सेलेक्ट कर उन्हें डिसेबल या डिलीट कर सकते हैं. अगर अन-इंस्टॉल का ऑप्शन आता है तो उस पर टैप करें.
यूजर्स के डाटा के गलत इस्तेमाल की मिल रही थीं शिकायत
मंत्रालय ने बुधवार को रोक लगाने के बाद कहा कि इन ऐप्स के खिलाफ कई शिकायतें मिली हैं. इनमें चोरी के लिए एंड्रॉयड और आईओएस प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध कुछ मोबाइल ऐप के दुरुपयोग, यूजर्स के डाटा को अनधिकृत तरीके से उपयोगकर्ताओं को प्रसारित करना शामिल है. बता दें कि केंद्र की ओर से जारी अधिसूचना में कहा गया है कि उपलब्ध जानकारी के मुताबिक, ये ऐप्स ऐसी गतिविधियों में शामिल हैं, जो भारत की रक्षा, सुरक्षा, संप्रभुता और अखंडता के लिए नुकसानदायक है. केंद्र ने कहा कि इन ऐप्स का मोबाइल और नॉन-मोबाइल बेस्ड इंटरनेट डिवाइसेज में भी इस्तेमाल नहीं किया जा सकेगा