ESIC Relaxes Norms: कोरोना महामारी के चलते न सिर्फ वित्तीय बाजारों में दिक्कत हुई है, बड़ी संख्या में लोगों की नौकरियां भी गई हैं. लॉकडाउन के चलते काम धंधे बंद होने से रोजगार पर बड़ा असर पड़ा है. इसी को देखते हुए कर्मचारी राज्य बीमा निगम (ESIC) ने बड़ा फैसला लेते हुए नियमों में बदलाव किया है. इस फैसले के मुताबिक नौकरी जाने पर कर्मचारियों को औसत सैलरी का 50 फीसदी 3 महीने तक दिया जाएगा. इसे नौकरी गंवाने वालों को बेरोजगारी भत्ता के रूप में मिलेगा. पहले यह लिमिट 25 फीसदी थी.
24 मार्च से 31 दिसंबर
ESIC के नए नियम के अनुसार यह लाभ उन्हीं कर्मचारियों को मिलेगा, जिनकी नौकरी 24 मार्च ये 31 दिसंबर 2020 के दौरान जाती है. बता दें कि 24 मार्च से ही देशभर में लॉकडाउन का एलान किया गया था. वहीं अनलॉक खुलने के बाद भी इसका असर अभी देखने को मिल रहा है. ऐसा माना जा रहा है कि उद्योग धंधों में काम पटरी पर लौटने में दिसंबर तक का समय लग सकता है. इसी वजह से अटल बीमित व्यक्ति कल्याण योजना की मियाद 30 जून 2021 तक के लिए बढ़ा दी गई है. इसी योजना के तहत बेरोजगारी भत्ता मिलता है. ESIC ही इसका संचालन करता है.
अधिकतम कितनी मदद
बीमित व्यक्ति पूरे जीवन में अधिकतम 90 दिन के लिए इस स्कीम के अंतर्गत फायदा ले सकता है. इसके लिए 2 साल का बीमित रोजगार और निर्धारित 78 दिन का योगदान आवश्यक है. यानी बेरोजगारी के पहले अंशदान की अवधि में कम से कम 78 दिनों का अंशदान किया गया होना जरूरी है. इस स्कीम के तहत राहत के लिए क्लेम बेरोजगार होने के तीन महीने बाद देय होगा.
पहले बेरोजगार होने के 90 दिनों के बाद इसका फायदा उठाया जा सकता था. फिलहाल के लिए इसे घटाकर 30 दिन कर दिया गया है. ईएसआई बोर्ड के सदस्य वी राधाकृष्ण का कहना है कि इससे करीब 35 लाख वर्कर्स को फायदा मिलेगा.
कैसे तय होगी रकम
कैसे तय होती है रकम, चार्ट से समझें.
Example: मान लीजिये कि आपकी नौकरी 1 अप्रैल 2020 को चली जाती है. आपने सितंबर 2018 से मार्च 2020 तक सैलरी में से योगदान दिया है.
कांट्रीब्यूशन पीरियड दिनों की कुल संख्या वेजेज
अक्टूबर 2019 से मार्च 2020 182 60,000 रुपये
अप्रैल 2019 से सितंबर 2019 183 60,000 रुपये
अक्टूबर 2018 से मार्च 2019 182 60,000 रुपये
अप्रैल 2018 से सितंबर 2018 183 60,000 रुपये
कुल 730 2,40,000 रुपये
90 दिनों के हिसाब से फायदा: (240000/730)*50/100* 90= 14795 रुपये
कौन नहीं उठा सकता फायदा
भले ही कोई व्यक्ति ईएसआईसी से बीमित हो, लेकिन किसी गलत व्यवहार की वजह से उसे कंपनी से निकाला गया हो. अगर किसी व्यक्ति पर आपराधिक मुकदमा दर्ज होता है. अगर आप स्वेच्छा से रिटायरमेंट (VRS) लेते हैं तो आपको इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा.